Publish Date:13-Feb-2020 19:19:04
नई दिल्ली. नया वित्तीय वर्ष शुरू होने में अब डेढ़ महीने से भी कम समय है. सैलरीड क्लास के लिए ये डेढ़ महीना टैक्स बचत (Tax Savings) के लिए काफी चिंताजनक होता है. हर किसी को इस बात की चिंता होती है कि आखिर टैक्स छूट के लिए ऐसा क्या विकल्प अपनाया जाए ताकि टैक्स के मोर्चे पर उन्हें राहत मिल सके. ऐसें में आज हम आपको इस बात की जानकारी देंगे कि अगर आपने म्यूचुअल फंड में निवेश किया है तो इसपर TDS कैसे बचाया जाए.
क्या है नियम
म्यूचुअल फंड पर लगने वाले TDS को लेकर टैक्स एक्सपर्ट मुकेश पटेल का कहना है कि सीबीडीटी ने इसपर सफाई देते हुए कहा है कि सेक्शन 194K के तहत TDS काटा जाएगा. 5000 रुपये से ज्यादा डिविडेंड पर 10 फीसदी TDS लगेगा. म्यूचुअल फंड के कैपिटल गेन्स पर TDS नहीं कटेगा. डिविडेंड को दोबारा निवेश करने पर भी TDS कटेगा. इनकम टैक्स रिटर्न में इसकी जानकारी देनी होगी.
कैसे बचेगा टैक्सम्यूचुअल फंड पर TDS बचाने का फंडा ये है कि आपकी इनकम टैक्स छूट की सीमा से अधिक आमदनी न हो. 60 साल से कम उम्र वाले फॉर्म 15G का फायदा ले सकते है. वहीं सीनियर सिटीजन, फॉर्म 15H के जरिए TDS बचा सकते है. फॉर्म 15G और 15H के जरिए डिविडेंड पर TDS बचा सकते है.
सरकार के इस स्कीम का उठाएं फायदा
केंद्र सरकार की विवाद से विश्वास स्कीम के दायरे में PMLA और बेनामी ट्रांजैक्शंस एक्ट के मामले नहीं आएंगे. विदेश से संपत्ति और आय की जानकारी छिपाने पर भी इस स्कीम का फायदा नहीं ले पाएंगे. विवाद से विश्वास स्कीम 30 जून तक खुली रहेगी. 31 मार्च 2020 तक बकाया टैक्स चुकाने पर ब्याज और पेनाल्टी से बचा जा सकेगा.
हालांकि इस स्कीम की डेडलाइन मिस होने पर 10% अतिरिक्त भुगतान करना होगा. पेनाल्टी और ब्याज को लेकर विवाद है तो रकम का 25% अदा करें. विवाद से विश्वास स्कीम की पूरी प्रक्रिया ऑनलाइन की जाएगी. नया टैक्स व्यवस्था चुनने पर PPF में निवेश पर टैक्स छूट नहीं मिलेगी। हालांकि PPF खाते से होने वाली ब्याज पर छूट मिलती रहेगी।
साभार- न्यूज 18