Publish Date:04-Apr-2020 13:54:21
नई दिल्ली. कोरोना वायरस संक्रमण (Coronavirus Covid-19) के बढ़ते मामलों के बीच सरकार (Government of India) ने बड़ा फैसला किया है. कॉमर्स मिनिस्ट्री ने तुंरत डायग्नोस्टिक किट के एक्सपोर्ट पर प्रतिबंध लगा दिया है. इसका नोटिफिकेशन भी जारी हो गया है. आपको बता दें कि देश में फिलहाल कोरोना संक्रमण से ग्रसित लोगों की संख्या 3000 के करीब पहुंच गई है. आम तौर पर कोरोना वायरस के संदिग्ध के सैंपल लिए जाते हैं. नतीजे आने में 24 से 48 घंटे का समय लगता है. जैसे जैसे कोरोना के मामले बढ़ रहे हैं सरकार प्राइवेट लैब्स को शामिल कर रही है. ऐसे में कोरोना से लड़ाई में इन डायग्नोस्टिक वर्कर्स की भूमिका काफी महत्वपूर्ण है.
भारत में जल्द आने वाली है कोरोना वायरस (Cronavirus in India) संकट के हालात में एक अच्छी खबर आई है. कोरोना की जांच के लिए अमेरिकी कंपनी एबॉट की ओर से बनाई गई रैपिड किट (सिर्फ 5 मिनट में कोरोना की जांच करती है) अब भारत आने वाली है.
CNBC TV18 को सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक, ये किट अप्रैल के तीसरे हफ्ते यानी 18 अप्रैल तक भारत में आ सकती है. आपको बता दें कि एबॉट की जांच किट सिर्फ पांच मिनट में कोरोना पॉजिटिव बता देती है और निगेटिव की रिपोर्ट 13 मिनट में आती है.
कब तक बनेगी वैक्सीन- कोरोना वायरस के इलाज को लेकर वैक्सीन कब तक आएगी इसकी कोई स्पष्ट सीमा नहीं है. कई देश कोरोना वायरस से निपटने के लिए दवा बनाने की कोशिश में जुटे हैं लेकिन कामयाबी नहीं मिल पाई है. इसके पहले फैले सार्स वायरस को लेकर भी अब तक कोई सटीक वैक्सीन नहीं बनाई जा सकी है. ऐसे में कोरोना की दवा जल्द बन जाएगी इस पर संशय की स्थिति है.
इसके जवाब में विशेषज्ञ कहते हैं कि अगर कोरोना वायरस का इलाज ढूंढ लिया गया तो भविष्य में इसे फैलने से रोका जा सकता है. आने वाले समय में ये महामारी दुनिया को घुटनों पर न ला पाए इसके लिए ज़रूरी है कि कोरोना वायरस की दवा जल्द से जल्द बना ली जाए.
साभार- न्यूज 18